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हैलो बीकानेर। बीकानेर नगर निगम चुनाव का बिगुल बज चुका है। 80 वार्डो पर कांग्रेस, भाजपा , बसपा व सनम अपने प्रत्याशी मैदान में उतारने को तैयार है। अगर हम बात बीकानेर के शहर के अंदुरुनी क्षेत्र की करें तो सबसे ज्यादा चर्चा रहने वाला वार्ड 58 इस बार सामान्य पुरुष के लिए आरक्षित हुआ है।

इस वार्ड को ब्राह्मण बाहुल्य माना जाता है। शहर के प्रत्येक त्योहार के लिए इस वार्ड की प्रमुख भुमिका रहती है। क्योंकि इस वार्ड में बारह गुवाड़ का क्षेत्र आता है। इस वार्ड से वैसे तो कई लोगों ने दोनों पार्टीयों से टिकट की दावेदारी की है। लेकिन इस वार्ड से एक नाम बार-बार सामने आ रहा है वो नाम है मदन गोपाल पुरोहित का, पुरोहित कर्मचारी नेता शंकर पुरोहित के भाई है और माना जाता है कि पुरोहित की इस वार्ड के लिए दावेदारी यहां की गणित बिगाड़ सकती है।

वैसे पुरोहित ने भाजपा से टिकट की मांग की है। इसी वार्ड में कुंज बिहारी जोशी ने भाजपा से टिकट की मांग की है। कांग्रेस की बात करें तो इस वार्ड में दुर्गादास छंगाणी, गंजीया महाराज, विजय ओझा व सत्यप्रकाश बोहरा ने टिकट की मांग की है।

पुरोहित की दावेदारी
जानकारों का मानना है कि मदन गोपाल पुरोहित एक व्यवसायी है और एक व्यवसायी होने के नाते इस वार्ड में इनकी पकड़ मजबूत है वहीं बड़े भाई शंकर पुरोहित ने भी भाजपा के लिए वर्षो कार्यकर्ता के रूप में काम किया है। यह वार्ड ब्राह्मण बाहुल्य होने के कारण यहां टिकट भी लगभग ब्राह्मण के खाते में जाता है।

लगभग 5 हजार से अधिक वोट
वार्ड 58 में लगभग 5 हजार से अधिक वोट बताए जा रहे है और उसमें भी अधिकतम पुष्करणा ब्राह्मण जाति के वोट है। पिछली बार यह वार्ड ओबीसी पुरुष था जहां से दुलिचंद सेवग पार्षद बने थे। आज हो सकती है प्रत्याशियों के नामों की घोषणा।

अगर निर्दलिय लड़े तो..
राजनीति के जानकारों का मानना है कि अगर पुरोहित को टिकट नहीं मिलता है और वो निर्दलिय इस वार्ड से चुनाव लड़ते है तो सीधे तौर पर इस वार्ड की गणित बिगड़ सकती है। पुरोहित को जब पुछा गया कि अगर पार्टी आप को टिकट नहीं देती है तो आप इस वार्ड से क्या निर्दलिय चुनाव लडेंग़े ? इस सवाल पर पुरोहित ने कहा मुझे चुनाव लडऩा है बस…

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