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जयपुर। राजस्थान कपड़ा व्यापार महासंघ जयपुर के आह्वान पर आज गुरुवार को राजस्थान के कपड़ा कारोबारी भी वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) के विरोध में हड़ताल पर रहे। जीएसटी के विरोध में लामबंद हुए कारोबारियों के चलते प्रदेशभर में करीब 1 लाख दुकान और प्रतिष्ठान बंद रहे।
राजधानी जयपुर में फैबरिक, टैक्सटाइल और साड़ियों की दुकानों के ताले नहीं खुले।
व्यापारी अपने प्रतिष्ठान बंद कर बड़ी चौपड़ पर धरने पर बैठे रहे।
जयपुर ही नहीं प्रदेश में करीब 1 लाख प्रतिष्ठान बंद रहे और सौ करोड़ रुपए का कारोबार प्रभावित हुआ।
गौरतलब है कि बिना सिले कपड़े, साड़ियों और कपड़ों से सम्बन्धित जॉब वर्क पर 5 प्रतिशत जीएसटी प्रस्तावित है।
अभी तक ये कपड़े टैक्स फ्री थे।
चूरू में संयुक्त व्यापार मंडल के बैनर तले व्यापारियों ने एसडीएम रामधन मीना को केंद्रीय वित्त मंत्री अरूण जेटली के नाम ज्ञापन सौंपा।
उदयपुर में भी कपड़ा व्यपारियों ने अपने प्रतिष्ठान बंद रखकर कलेक्ट्रेट पर प्रदर्शन किया।
उदयपुर में जीएसटी के विरोध में जिले के कपड़ा व्यापारीयो ने अपनी दुकानें बंद रखी और जिला कलेक्ट्रेट तक रैली निकाल कलेक्टर को ज्ञापन सौंपा।
सूरतगढ (श्रीगंगानगर) में कपड़े से जीएसटी वापस लेने की मांग को लेकर वस्त्र व्यवसायियों ने कारोबार बंद रखा। वस्त्र विक्रेता संघ ने एसडीएम के मार्फत प्रधानमंत्री को ज्ञापन प्रेषित किया।
बीकानेर जिले के लूणकरणसर में व्‍यापारियों ने उपखण्‍ड अधिकारी को प्रधानमंत्री और वित्‍तमंत्री के नाम सौपा ज्ञापन सौंपा।
व्‍यावसाय को जीएसटी से अलग रखने की मांग करते हुए नहीं मानने पर उग्र आन्‍दोलन की चेतावनी दी।
जीएसटी के विरोध में सीकर जिले के रींगस कस्बे में कपड़ा बाजार को बंदकर विरोध किया।

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