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बीकानेर। महिला एवं बाल विकास राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार ) अनिता भदेल ने कहा कि प्रदेश के आंगनबाड़ी केन्द्रों को सशक्त बनाया जा रहा है। विभाग द्वारा स्वयं सहायता समूहों की महिलाओं के आर्थिक सशक्तीकरण एवं विपणन कौशल को बढ़ावा देने के लिए अमृता हाट का आयोजन किया जा रहा है। भदेल सोमवार को जिला परिषद सभागार में महिला एवं बाल विकास तथा महिला अधिकारिता विभाग की प्रगति समीक्षा बैठक को सम्बोधित कर रही थीं। भदेल ने बताया कि इस वर्ष से कोलायत ब्लॉक की आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं का मानदेय -‘राज पोषण‘ सॉफ्टवेयर के माध्यम से सीधे उनके खाते में जमा होगा, जिससे उन्हें समय पर भुगतान मिल सकेगा। उन्होंने निर्देश दिए कि आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं, सहायिका, आशा सहयोगिनियों को निर्धारित विभागीय कार्य के अलावा अन्य कार्यों में नहीं लगाया जाए। भदेल ने बताया कि 6 से 10 जनवरी तक बीकानेर जिला मुख्यालय पर संभाग स्तरीय अमृता हाट का आयोजन होगा, जहां प्रदेश के दूरदराज क्षेत्रों के महिला स्वयं सहायता समूह की महिलाओं द्वारा तैयार उत्पाद विक्रय के लिए रखे जाएंगे। उन्होंने निर्देश दिए कि अमृता हाट के दौरान कैशलेस, ऑनलाईन ट्रांजेक्शन इत्यादि की जानकारी देकर इसे प्रोत्साहित किया जाए व लीड बैंक द्वारा मुद्रा योजना आदि योजनाओं का प्रचार किया जाए। आयोजन में अधिकाधिक संख्या में जनप्रतिनिधियों एवं आमजन की भागीदारी के विशेष प्रयास किए जाएं। आंगनबाड़ी केन्द्र होंगे सशक्त- भदेल ने बताया कि राज्य के आंगनबाड़ी केन्द्रों पर आधारभूत सुविधाएं उपलब्ध करवाई गई हैं। यहां शाला पूर्व शिक्षा कार्यक्रम आयोजित किया जा रहा है। 29 दिसम्बर को राज्य भर में पीटीएम का सफल आयोजन किया गया। भदेल ने निर्देंश दिए कि सभी आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं को समय पर भुगतान सुनिश्चित किया जाए। बैठक के दौरान बताया गया कि जिले में आंगनबाड़ी केन्द्रों में मानदेय सेवाकर्मियों के 4 हजार 95 पद स्वीकृत हैं व इनमें से 290 पद रिक्त हैं। रिक्तियों की भर्ती की सूचना जारी की जा चुकी है।
फोटो राजेश छंगाणी
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भदेल ने निर्देश दिए कि आंगनबाड़ी केन्द्रों में रिक्त पदों की सूचना उपनिदेशक को पूर्व में ही दे दी जाए, जिससे कोई भी आंगनबाड़ी केन्द्र, कार्यकर्ता से वंचित न रहे। बैठक में बताया गया कि आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं, सहायिका, आशासहयोगिनियों को नवम्बर 16 तक का मानदेय भुगतान किया जा चुका है। जिले में आंगनबाड़ी भवनों के निर्माण के सम्बन्ध में मनरेगा के तहत 50 के लक्ष्य के विरूद्ध 49 भवन निर्माण हो चुके हैं व एक प्रक्रियाधीन है। उन्होंने महिला बाल विकास उपनिदेशक को निर्देश दिए कि वे इन भवनों की वेरिफिकेशन रिपोर्ट प्रस्तुत करें। समेकित बाल विकास योजनाओं की समीक्षा- बैठक के दौरान बताया गया कि जिले में नन्द घर योजना के तहत 132 के लक्ष्य के विरूद्ध 178 नंदघर तैयार कर लिए गए हैं। पूरक पोषाहार वितरण व्यवस्था के तहत नवम्बर माह तक के मानदेय का भुगतान हो गया है । अक्टूबर माह के पोषाहार नमूनों की लैब रिपोर्ट, जांच में सही पाई गई है। भदेल ने महिला अधिकारिता विभाग की कार्यक्रम अधिकारी को निर्देश दिए कि वे पोषाहार वितरण में लगे हुए स्वयं सहायता समूहों के नाम, पते एवं दूरभाष नंबरों की सूची का वेरिफिकेशन करें। भदेल ने कम वजन वाले बच्चों को चिन्हित कर उन्हें समय पर उपचार देने के निर्देश दिए, जिससे वे स्वस्थ रह सकें। बैठक में बताया गया कि जिले में यशोदा पुरस्कार के तहत वर्ष 2016-17 में 21 कार्यकर्ताओं को यशोदा पुरस्कार दिया गया है तथा जिले के 3 मानदेय सेवाकर्मियों का राज्य स्तरीय माता यशोदा पुरस्कार हेतु चयन किया गया है। भदेल ने निर्देश दिए कि पुरस्कार के तहत चयन हेतु पूर्ण पारदर्शिता रखी जाए। एम सी एच एन दिवस को नियमित रूप से मनाया जाए तथा पोषाहार, टीकाकरण कार्य पर कड़ी नजर रखी जाए। उन्होंने उपनिदेशक को निर्देश दिए कि वे इसकी मॉनिटरिंग करते हुए सुनिश्चित करें कि सभी सीडीपीओ नियमित रूप से फील्ड विजिट करें। इस दिवस के सम्बन्ध में एक फॉर्मेट बनाकर उसमें सम्पूर्ण जानकारी प्रस्तुत की जाए। सीडीपीओ, सम्बन्धित बीसीएमओ से समन्वय कर संयुक्त दौरा करें। महिला अधिकारिता विभागीय योजनाओं की समीक्षा- भदेल ने बताया कि महिला पर्यवेक्षकों के 50 प्रतिशत पद आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं से भरे जाएंगे। महिला स्वयं सहायता समूह कार्यक्रम की समीक्षा के दौरान बताया गया कि जिले में वर्ष 2016-17 के तहत अब तक 147 समूह गठित किए जा चुके हैं तथा 52 लाख 80 हजार रूपये का व्यावसायिक ऋण उपलब्ध करवाया गया है। भदेल ने बताया कि प्रदेश में सभी वर्ग की महिलाओं को कम्प्यूटर बेसिक कोर्स का प्रशिक्षण आरकेसीएल द्वारा निःशुल्क दिया जा रहा है। उन्होंने उपनिदेशक को निर्देश दिए कि नॉलेज सेंटरों पर आगामी बैच के उद्घाटन व समापन समारोहों को जनप्रतिनिधियों से करवाना सुनिश्चित किया जाए। भदेल ने बताया कि इन सेन्टरों पर आने वाली छात्राओं की बायोमैट्रिक उपस्थिति सुनिश्चित की जाएगी जिससे पारदर्शिता बनी रहे।
फोटो राजेश छंगाणी
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बैठक में बताया गया कि जिले में महिला सलाह व सुरक्षा केन्द्र को वर्ष 2016 में 167 प्रकरण प्राप्त हुए थे, जिनमें से 152 का निस्तारण कर दिया गया है। भदेल ने अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक को निर्देश दिए कि वे इस सम्बन्ध में एक कैलेण्डर बना लें, जिससे ग्रामीण क्षेत्रों में दिन निश्चित कर, महिलाओं से सम्बन्धित प्रकरणों का समय पर निस्तारण हो सके। इन शिविरों का ग्रामीण क्षेत्रों में प्रचार-प्रसार किया जाए, जिससे अधिकाधिक महिलाएं लाभान्वित हो सकें। भदेल ने विभागीय अधिकारियों को निर्देश दिए कि वे सामूहिक विवाह नियमन व अनुदान योजना का अधिकाधिक प्रचार प्रसार करें, जिससे वैवाहिक आयोजनों में अपव्यय कम हो तथा बाल विवाह तथा दहेज प्रथा पर प्रभावी रोक लग सके। उन्होंने मुख्यमंत्री राजश्री योजना की प्रगति समीक्षा करते हुए निर्देश दिए कि पंडित दीनदयाल उपाध्याय पंचायत शिविरों के माध्यम से भी इस योजना का प्रचार किया जाए, जिससे अधिकाधिक बालिकाएं इससे लाभान्वित हो सकें। जिला कलक्टर वेदप्रकाश ने कहा कि ग्रामीण क्षेत्रों में विभागीय योजनाओं का व्यापक प्रचार प्रसार हो। आवश्यकतानुसार आंगनबाड़ी केन्द्रों के लिए ग्रामीण क्षेत्रों में रिक्त हुए विद्यालय भवनों की सूचना देकर, इनका आवंटन करवाया जाए, जिससे उस स्थान का सदुपयोग हो सके। रिक्त पडे़ सामुदायिक भवनों को चिन्हित कर उनका भी आंगनबाड़ी केन्द्र हेतु उपयोग किया जाए। महिला प्रचेता घर-घर जाकर, अभिभावकों को आंगनबाड़ी केन्द्रों में बच्चों को भेजने के लिए प्रेरित करें। एमसीएचएन दिवस पर उपस्थित लोगों को विभिन्न जनकल्याणकारी योजनाओं की जानकारी दी जाए। अमृता हाट के आयोजन में भामाशाहों, प्रायोजकों की मदद ली जाए। इस अवसर पर डॉ. सत्यप्रकाश आचार्य, सहीराम दुसाद, महिला एवं बाल विकास विभाग उपनिदेशक गोपालराम बिरदा, अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक सतनाम सिंह, महिला अधिकारिता विभाग की कार्यक्रम अधिकारी मेघारतन, सीडीपीओ, डॉ. नरेन्द्र सिंह शेखावत, शक्ति सिंह, सुभाष विश्नोई, रामप्रसाद हर्ष, मंजू नांगल, विजय शंकर आचार्य सहित विभिन्न विभागों के अधिकारी उपस्थित थे।

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